डाइट में “फाइबर” (fiber) की मात्रा बढ़ाने से पहले इसे जरूर पढ़ें!
एक अध्ययन के अनुसार हर 10 ग्राम फाइबर (Fiber) कोलोरेक्टल कैंसर के जोखिम को 10 प्रतिशत तक कम कर सकता है। इस अध्ययन से आपको समझ में आ गया होगा कि फाइबर हमारे लिए कितना जरूरी है, लेकिन फाइबर की मात्रा पर भी विशेष नजर रखना जरूरी होता है। फाइबर की सही मात्रा आपको कई शारीरिक लाभ पहुंचा सकती है। लेकिन अधिक फाइबर से जुड़े कुछ जोखिम भी हैं जिन्हें जानना बहुत जरूरी है, आइए बात करते हैं उन जोखिमों के बारे मेंः
धीरे-धीरे बढ़ाएं मात्राः
शुरू करने का सबसे अच्छा तरीका यह पता लगाना है कि आप हर दिन कितना फाइबर खा रहे हैं। एक बार जब आप मात्रा जान जाएंगे, तो आप फाइबर की मात्रा डाॅक्टर के सुझाव के अनुसार धीरे-धीरे बढ़ाना शुरू कर सकते हैं। तेजी से फाइबर की मात्रा बढ़ा देने से कुछ मामालों में लोगों को गैस, ब्लाटिंग या दस्त का भी सामना करना पड़ सकता है।
तरल पदार्थ को इग्नोर न करेंः
अगर आप फाइबर आहार के साथ पर्याप्त तरल पदार्थ नहीं ले रहे है, तो आप कब्ज जैस समस्या का भी शिकार हो सकते हैं। यह जरूरी है कि आप हर दिन सही मात्रा में पानी जरूर पिएं।
ओवरईटिंग न करेंः
अधिक हमेशा बेहतर नहीं होता है, इसलिए कोशिश करें कि आप आवश्यक मात्रा से अधिक फाइबर न खाएं। इसका सही तरीका ये है कि आप अपने डाॅक्टर से इसकी मात्रा पर चर्चा जरूर करें। इस बात पर ध्यान दें कि आपका पाचन तंत्र आपके फाइबर के प्रति कैसा रिस्पाॅंस कर रहा है। इससे संबंधित आपके प्रश्न हैं तो अपने चिकित्सक से इस बारे में जरूर बात करें।
पेट में गैस की समस्याः
यदि आपको कच्ची सब्जियों और बीन्स से गैस की समस्या हो रही है तो नींबू पानी या सोडे का प्रयोग कर सकते हैं। अगर ये परेशानी ज्यादा हो रही है तो अपने डाॅक्टर से जल्द से जल्द चर्चा करें। इस बात का ध्यान रखें कि खाने की नई आदतों को विकसित आसान नहीं होता है। इसमें समय और अभ्यास लगेगा, इसलिए धैर्य रखें क्योंकि आप इन सुझावों को अपने आहार में शामिल करना धीरे-धीरे सीखेंगे।
उच्च फाइबर आहार के लाभ
मल त्याग को सामान्य करता है। फाइबर आपके मल के वजन और आकार को बढ़ाता है और इसे नरम बनाता है। एक भारी मल को पास करना आसान है, जिससे कब्ज की संभावना कम हो जाती है।
आंत्र स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है। एक उच्च फाइबर वाला आहार बवासीर जैसे जोखिमों को कम करने में मदद करता है। अध्ययनों में यह भी पाया गया है कि उच्च फाइबर वाले आहार से कोलोरेक्टल कैंसर का खतरा कम होता है।
कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है। बीन्स, ओट्स जैसे आहार में पाए जाने वाले घुलनशील फाइबर कम घनत्व वाले लिपोप्रोटीन, या खराब कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करके कुल रक्त कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करने में मदद कर सकते हैं। अध्ययनों से यह भी पता चला है कि उच्च फाइबर खाद्य पदार्थों से हृदय-स्वास्थ्य संबंधी अन्य लाभ हो सकते हैं, जैसे रक्तचाप आदि।
फाइबर रक्त शर्करा के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। एक स्वस्थ आहार जिसमें अघुलनशील फाइबर शामिल है, वह टाइप 2 मधुमेह के विकास के जोखिम को कम कर सकता है।
स्वस्थ वजन हासिल करने में सहायक होता है फाइबर, उच्च फाइबर वाले खाद्य पदार्थ आपका वनज नियंत्रित रखने में सहायक होते है। इसीलिए बजन कर करने की सलाह देते समय विशेषज्ञ आहार में सब्जियों और फाइबर से भरपूर खाद्य पदार्थ को शामिल करने के लिए बोलते हैं।
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